छत्तीसगढ़राज्य

छत्तीसगढ़-बलरामपुर रामानुजगंज में विश्व हिंदू परिषद और बजरंग दल का शौर्य संचलन, गांधी मैदान तक उमड़ा जन सैलाब

बलरामपुर रामानुजगंज।

बलरामपुर रामानुजगंज विश्व हिंदू परिषद एवं बजरंग दल के द्वारा के द्वारा नगर में शौर्य संचलन का बृहद आयोजन अंतर्राष्ट्रीय कथावाचक सतानंद जी महाराज विश्व हिंदू परिषद के प्रांतीय कार्यकारी अध्यक्ष चंद्रशेखर वर्मा के विशेष उपस्थिति में आयोजित किया गया। नगर में पहली बार आयोजित करें बजरंग दल के शौर्य संचलन कार्यक्रम को लेकर विश्व हिंदू परिषद एवं बजरंग दल के लोगों में उत्साह देखते  बन रहा था।

बड़ी संख्या में नगरवासी भी आयोजन में सम्मिलित हुए। मां महामाया मंदिर परिसर से शौर्य संचलन प्रारंभ हुआ जो नगर के प्रमुख चौक चौराहे होते गांधी मैदान में समाप्त हुआ। गांधी मैदान में बौद्धिक को संबोधित करते हुए चंद्रशेखर वर्मा ने कहा कि हिंदू समाज विश्व का कल्याण हो, प्राणियों में सद्भावना हो, सभी सुखी रहे, सभी स्वस्थ हो की भावना से कार्य करता है। आज सनातन धर्म को लेकर अनर्गल प्रलाप लोगों के द्वारा किया जा रहा है हम सनातनियों को एकजुट होने की आवश्यकता है। अखंड भारत से टूट कर कई देश बने वे देश सिर्फ इसलिए बने कि वह हिंदू अल्पसंख्यक में आए। हिंदू समाज को बांटने का षड्यंत्र हो रहा है धर्मांतरण तेजी से हो रहा है। इस सब को रोकने के लिए हम सबको एकजुट होना होगा। विश्व हिंदू परिषद विभाग समरसता प्रमुख ललन कुशवाहा,विश्व हिंदू परिषद के जिला अध्यक्ष अभिषेक मिश्रा, बजरंग दल के जिला संयोजक जस्सू केसरी के नेतृत्व में विगत एक माह से शौर्य संचलन को लेकर व्यापक की समय तैयारी की जारी थी।

राम भक्तों की टोली रही आकर्षण का केंद्र
शौर्य संचलन श्रीकोट से आए सैकड़ो राम भक्तों की टोली आकर्षण का केंद्र रहा।परंपरागत वाद्य यंत्र त्रिशूल तलवार हाथ भगवा झंडा लेकर  सम्मिलित हुवे। बजरंग दल के कार्यकर्ता भी एक प्रकार के गणवेश में सम्मिलित हुए। सभी में अनुशासन देखते बन रहा था। शौर्य संचलन नगर के प्रमुख चौक चौराहे से होकर गुजरी लोगों में उत्साह देखते बन उसे वर्ष के साथ शौर्य संचलन का स्वागत किया गया। विश्व हिंदू परिषद एवं बजरंग दल के कार्यकर्ताओं के द्वारा हाथ में दंड एवं अस्त्र शस्त्र लेकर शौर्य संचलन निकाला गया।

भाव बिभोर हुए सभी
गांधी मैदान में अंतर्राष्ट्रीय कथावाचक सतानंद महाराज की ओजस्वी वाणी से सभी भाव विभोर हो गए। अपनी माटी संस्कृति धर्म के लिए हम सबको जागरूक होना होगा। राष्ट्र को उत्कर्ष की ओर ले जाने के लिए हम सबको आगे आना होगा। विश्व में सबसे अधिक युवा भारत वर्ष में है। आवश्यकता है बस उन्हें सही दिशा दिखाने की।धर्मांतरण को लेकर जोरदार तरीके से अपनी बात रखी।

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